इनकम टैक्स स्लैब 2018-19 | Income Tax Slab 2018-19 In Hindi/Urdu
इस पोस्ट में हम नए टैक्स स्लैब की जानकारी तो दे ही रहे हैं, इन Tax Slab के आधार पर आपके Tax की गणना कैसे होती है, इसको समझने के लिए सबसे अंत में Income Tax Calculation का एक उदाहरण भी दे रहे हैं
टैक्स रेट | सामान्य नागरिक | वरिष्ठ नागरिक (60 से ऊपर) | अति वरिष्ठ नागरिक (80 से ऊपर) |
0% | 0 से 2.5 लाख रुपए | 3.0 लाख | 5.0 लाख |
5% | 2.5 लाख से 5 लाख | 3.0 - 5.0 लाख | NIL |
20% | 5 लाख से 10 लाख | 5 लाख से 10 लाख | 5 लाख से 10 लाख |
30% | 10 लाख से ऊपर | 10 लाख से ऊपर | 10 लाख से ऊपर |
टैक्स में छूट- 3.5 लाख रुपए तक की आय पर 2500 की छूट 87 ए के तहत मिलती है। मतलब आपके कुल टैक्स में से
2500 रुपए घट जाते हैं। इस कारण 3 लाख रुपए तक की आय टैक्स फ्री हो जाती है।
सरचार्ज
- 50 लाख रुपए से 1 करोड़ रुपए तक की आय पर 10 फीसदी सरचार्ज
- 1 करोड़ रुपए से ऊपर की आय पर 15 फीसदी सरचार्जसेस
कुल आयकर पर 3 फीसदी सेस और साथ में सरचार्ज- उदाहरण के लिए, अगर आपकी सेलरी 4 लाख रुपए है तो 40 हजार रुपए इसमें से पहले ही घटा दीजिए। बची हुई 3 लाख 60 हजार रुपए की आमदनी पर ही आपके इनकम टैक्स की गणना की जाएगी।
- इसी तरह अगर आपकी सेलरी 3 लाख रुपए सालाना है तो उसमें से 40 हजार रुपए स्टैंडर्ड डिडक्शन हो जाएगा। बची हुई 2 लाख 60 हजार रुपए की आमदनी पर आपके इनकम टैक्स की गणना होगी।
इस 40 हजार रुपए के स्टैंडर्ड डिडक्शन से जुड़ी एक और अच्छी बात यह है कि इस पैसे के खर्च या निवेश का हिसाब करदाता को नहीं देना होगा। उसका नियोक्ता या कंपनी सेलरी में से टीडीएस का आकलन करते वक्त ही सीधे 40,000 रुपए घटाकर टैक्स की गणना करेंगे।
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